वृ वृजू = पूजा- आराधना गर्नु अघि मुसलमानहरूले हात मुख
धुने क्रिया : वृंत = डाँठ,
भेट्नु वृंद = समूह, जमात, झुप्पो, वृन्द : वृक = ब्वाँसो
: वृक्ष= रूख, बोट, वृक्ष, पोस्रो वृक्षकोटर = रूखमा भएको दुलो : वृक्षदेवी =
वनदेवी, वृक्षहरूको अधिष्ठात्री देवी : वृक्षमूल = रूखको जरो : वृक्षरोपण =: बिरुवा रोप्ने क्रिया, रूखको बिरुवा रोप्ने कार्य,
वृक्षरोपण : वृक्षवाटिका
= उद्यान, बगैंचा, वृक्षवाटिका : वृक्षवासी
= वृक्षमा बस्ने, रुखमा बस्ने : वृक्षविज्ञान
= रूखपातको ज्ञान, वृक्षविज्ञान : वृक्षाकार
= रूखको आकारको, वृक्षाकार : वृक्षाच्छाया
= छाहारी, सिंयाल, सँयल, रूखको छाया : वृत्त = बाटुलो
घेरो, गोलाकार, वृत्त : वृत्तखण्ड
= चाप, वृत्तांश, धनु :
वृत्तचित्र
= विविध विषयका लघु चलचित्र वृत्तचित्र : |
वृत्तमुखी
= :वृत्ताकारको, बाटुलो, गोलाकारको : वीर्यशाली
= शरीरमा शक्ति वा फुर्ती भएको, वृतांत =हालखबार,
समाचार, विस्तृत शक्तिशाली, वीर्यवान, कराँतिलो : वीर्यहानि
= वीर्यपतन, वीर्यक्षरण, नामर्द, पौरुषताविहीन, वीर्यस्खलन : वीर्यहीन
= नामर्द, पानीआन्द्रे, शरीरमा वीर्य कम भएको, भीरु : वृत्ताकार =गोलो, बाटुलो, वृत्ताकार : वृत्ति =
आचरण, मेधाशक्ति, छात्रवृत्ति, ज्याला : वीर्यधान
= गर्भवती बनाउने या बनिने वृत्तिकर = पेसामा लाग्ने कर, वृत्तिकर :क्रिया, गर्भधान
गर्भधारण : वृत्तिकार=
टीका-टिप्पणी गर्ने व्यक्ति, वृत्तीय
= बाटुलो, गोलाकारको : वृथा = व्यर्थ,
निष्फल, बिनासित्ती, बेकार, उपयोगहीन : वृथात्व = : बेकामको, व्यर्थको, काम नलाग्ने, व्यर्थता
: वृथामति = मूर्ख, हुस्सु, ग्वाङ्ग्रो, लबवठ : वृथा करना
= बेकामको बनाउनु, निष्फल बनाउनु, व्यर्थ तुल्याउनु : वृथोक्त = व्यर्थे भनिएको, बिनाकाम भनिएको : वृथोत्पन्न = बिनसित्ती
जन्मेको, व्यर्थे जन्मिएको :
वृद्ध = धेरै उमेरको, बूढ़ो, खल्लर, जराग्रस्त, वृद्ध
: वेदसम्मत |